Category हिंदी विषय नोट्स

सर्वधर्म समभाव कक्षा 6 हिन्दी

सर्वधर्म समभाव आज से लगभग चौदह सौ साल पहले की बात है। अरब के नखलिस्तान में एक गरीब बुढ़िया घर में जलाने के लिए सूखी लकड़ियाँ चुन रही थी । बहुत-सी लकड़ियाँ इकट्ठी हो जाने पर उसने उनका एक गट्ठा…

दू ठन नान्हे कहानी कक्षा 6 हिन्दी

दू ठन नान्हे कहानी हीरा अउ ओस के बूंद हीरा ह जतका सुग्घर होथे ओतके महँगी घलो होथे। अइसने सुग्घर अउ महँगी हीरा ल जंगल म परे परे गजब दिन बीत गे । ओकर उपर कोनो मनखे के नजर नइ…

समय नियोजन कक्षा 6 हिन्दी

समय नियोजन  हम अक्सर शिकायत किया करते हैं- समय के अभाव की, समय न मिलने की। पत्र का उत्तर न दे सका समयाभाव के कारण; कसरत नहीं कर सकता, समय न मिलने के कारण । किंतु यदि हम सही ढंग…

सीखो (हिंदी कक्षा – 3)

जानने योग्य फूलों से नित हँसना सीखो. भौरों से नित गाना । तरु की झुकी डालियों से नित सीखो शीश झुकाना ।। सीख हवा के झोंकों से लो कोमल भाव बहाना दूध तथा पानी से सीखो मिलना और मिलाना।। सूरज…

सच्चा बालक (हिंदी कक्षा – 3)

जानने योग्य प्रश्न और अभ्यास प्र.1. गुरु जी द्वारा अपनी प्रशंसा सुनकर गोपाल दुखी क्यों हुआ ? प्र. 2. गोपाल को सच्चा बालक क्यों कहा गया ? प्र.3. गोखले जी क्यों प्रसिद्ध हुए ? प्र.4. गोपाल की जगह तुम होते…

मुसवा रइथे जी (छत्तीसगढ़ी) (हिंदी कक्षा – 3)

जानने योग्य कउँवा रइथे खोधरा म अउ, बिला म मुसया रइथे जी । कोलिहा रइथे खेत खार म पानी म केछवा रइथे जी ।। चाँटी रेंगय मुइयाँ म अउ मछरी तउँरय पानी म मेचका रइथे दुनो जघा म कोठा म…

बंदर बाँट (हिंदी कक्षा – 3)

जानने योग्य प्रश्न और अभ्यास प्र.1. कहानी का शीर्षक बंदर बाँट क्यों है ? प्र. 2. तुम इस नाटक को क्या नाम देना चाहोगे और क्यों ? प्र. 3. सफेद बिल्ली और काली बिल्ली दोनों रोटी पर अपना हक क्यों…

मीठे बोल (हिंदी कक्षा – 3)

जानने योग्य प्रश्न और अभ्यास प्र.1. मीठे बोल से कवि का क्या तात्पर्य है ? प्र. 2. चार मीठे फलों के नाम लिखो। प्र. 3. हमें मीठे बोल क्यों बोलने चाहिए ? प्र.4. इस कविता में रसगुल्ला को अनमोल मीठा…

कबूतर और मधुमक्खियाँ (हिंदी कक्षा – 3)

जानने योग्य प्रश्न और अभ्यास प्र. 1. मधुमक्खियाँ कहाँ रहती थीं ? प्र. 2. रानी मक्खी किस मुसीबत में फँस गई थी ? प्र. 3. कबूतर क्यों डर गया था ? प्र. 4. मधुमक्खियों ने कबूतर की कैसे सहायता की…

अध्याय – 7. चाँद का कुरता (हिंदी कक्षा – 3)

जानने योग्य हठ कर बैठा चाँद, एक दिन माता से यह बोला । सिलवा दो माँ, मुझे ऊन का मोटा एक झिंगोला ।। सन्-सन् करती हवा, रात-भर जाड़े से मरता हूँ। ठिठुर-ठिठुरकर किसी तरह यात्रा पूरी करता हूँ ।। आसमान…