अपन चीज के पीरा’ कहानी छत्तीसगढ़ी भाषा में लिखी गई है। इसमें परसराम नामक एक जिद्दी और अक्खड़ व्यक्ति के स्वभाव का वर्णन है। परसराम की गाय, गोदवरी, दूसरों के खेतों और बागानों को नुकसान पहुंचाती है, लेकिन वह इसे रोकने के बजाय उल्टा शिकायत करने वालों को डांटता है। उसके बेटे रमेसर को यह स्वभाव बिल्कुल पसंद नहीं है। एक दिन, रमेसर जान-बूझकर अपने घर के मवेशियों को घर की बाड़ी (खेत) में छोड़ देता है। इससे सारा फसल नष्ट हो जाता है। जब परसराम और उसकी पत्नी दसरी इस दृश्य को देखते हैं, तो उन्हें अपनी गलती का एहसास होता है। रमेसर ने अपने माता-पिता को सिखाया कि दूसरों की चीज़ों का महत्व भी उतना ही होता है जितना अपनी चीज़ों का। यह कहानी मानवीय संवेदनाओं और दूसरों की पीड़ा को समझने की शिक्षा देती है।
पाठ से
प्रश्न 1. परसराम के सुभाव कइसे रहिस ?
उत्तर- परसराम के जइसन नांव रिहिस तइसन ओखर काम रिहिस। न मे नहीं तेज मेर लाठी अंठियाय अउ बात-बात में अगय आले (परसराम का जैसा नाम था, वैसा ही उसका काम था हर जगह वह लाठी दिखाता था और बात-बात में अंगारे उगलता था )
प्रश्न 2. गोदवरी ह काकर बारी में जा के चरय ?
उत्तर-गोदवरी ह रूप के बारी में जा के चरय (गोदवरी किसकी बाड़ी में जाकर चरती थी ?) (गोदवरी रूपड की बाड़ी में जाकर चरती थी।)
प्रश्न 3. रूपउ ह गोदवरी ल पकड़े खातिर का जतन करिस ? (रूपउ ने गोदवरी को पकड़ने के लिए क्या उपाय किया ?)
उत्तर- रूपउ ह गोदवरी ल पकड़े खातिर जेन मेर ले ओ ह बारी म बुलके, तेन मेर गड्ढा खन दिस अउ ओला द्वारा पाना म तोप दिस। (रूपउ ने गोदवरी को पकड़ने के लिए जहाँ से वह बाड़ी में घुसती थी, वहाँ एक गड्ढा बना दिया और उसे डालियों और पत्तियों से
प्रश्न 4. रूपड का सोच के डर्शत रहय ? (रूप क्या सोचकर डर रहा था प्रसंग प्रस्तुत गद्य खण्ड में परसराम की गाय का वर्णन किया
उत्तर-रूप ये सोच के डर्तत रहय के कहूँ गाय के गोड़ टूट जही त उल्टा मोर करलइ हो जही मर जही त गउ हत्या लगही। (रूप यह सोचकर डर रहा था कि अगर गाय का पैर टूट जाएगा तो मुझे दुःख होगा मर जाएगी तो गौहत्या का पाप लगेगा )
प्रश्न 5. गाँव वाले मन परसराम ल का डाँड़ डौडिन अउ ओला का चेतन ? (गाँव वालो ने परसाम को क्या दंड दिया और उसे क्या चेतावनी दी ?)
उत्तर- गाँव वाले मन परसराम ल दू सौ रुपिया डाँडिन अउ ओला चेतइन के आज ले कखरो खेत-खार ल चरावे झन, गाय ल दिलवे झन (गाँव वालों ने परसराम को दो सौ रुपये का दंड दिया और उसे ये चेतावनी दी कि आज से किसी के खेत में गाय को चराना नहीं और उसे खुला छोड़ना नहीं।)
प्रश्न 6. रमेसर ह अपन दाई-ददा ले का बात दर बालिक बाता होवय ? या ?) (रमेसर अपने माता-पिता साथ किस बात के लिए बहस करता
उत्तर- रमेसर के दाई-ददा अपन गाय ल घरे वर दूसर के बारी म दिल देवेय रमेसर ल ऊंखर इही काम ह बजे नई लागय इही बात वर ओहर अपन दाई-ददा ले बालिक बाता होवय (रमेसर के माता-पिता अपनी गाय को चरने के लिए दूसरे के बाड़ी में खुला छोड़ देते थे। रमेसर को उनका यह काम अच्छा नहीं लगता था। इसी बात के लिए उसका अपने माता-पिता के साथ विवाद हो जाता था।)
प्रश्न 7. रमेसर ह नाचा देखे बर काबर न गिस ? ( रमेसर नाचा देखने के लिए क्यों नहीं गया ?)
उत्तर- रमेसर ये सोच के, के आज तो कुछ उदिम करेच ल परही, अपन जिनिस के का पीरा होये, ये तो ददा ल सिखोयेच ल परही, इसी सोच के नाचा देने वर नड़ जिस (रमेसर यह सोचकर कि आज तो कुछ उपाय करना ही पड़ेगा, अपनी चीज के नुकसान होने पर किस तरह की पीड़ा होती है, इस बात का अनुभव पिताजी को कराना ही पड़ेगा, इसी कारण वह नाचा देखने नहीं गया.
20 MCQ उत्तर सहित
- ‘अपन चीज के पीरा’ कहानी किस भाषा में लिखी गई है?
- (a) हिंदी
- (b) छत्तीसगढ़ी ✔️
- (c) मराठी
- (d) भोजपुरी
- कहानी में परसराम का स्वभाव कैसा है?
- (a) शांत
- (b) क्रोधी और जिद्दी ✔️
- (c) मृदुभाषी
- (d) दयालु
- परसराम की गाय का नाम क्या है?
- (a) गंगा
- (b) गोदवरी ✔️
- (c) जमुना
- (d) सरस्वती
- गोदवरी क्या करती थी?
- (a) खेतों की रक्षा करती थी
- (b) दूसरों के खेत चर जाती थी ✔️
- (c) दूध नहीं देती थी
- (d) घर की बाड़ तोड़ देती थी
- रमेसर कौन है?
- (a) परसराम का पड़ोसी
- (b) परसराम का बेटा ✔️
- (c) परसराम का भाई
- (d) परसराम का दोस्त
- गांव वाले गोदवरी से क्यों परेशान थे?
- (a) वह शोर करती थी
- (b) वह उनके खेत नष्ट कर देती थी ✔️
- (c) वह बीमार थी
- (d) वह दूध नहीं देती थी
- रमेसर ने घर के मवेशियों को कहां छोड़ा?
- (a) गांव की सड़क पर
- (b) अपने खेत में ✔️
- (c) जंगल में
- (d) नदी के पास
- रमेसर ने ऐसा क्यों किया?
- (a) अपने माता-पिता को सबक सिखाने के लिए ✔️
- (b) गुस्से में
- (c) गोदवरी को बचाने के लिए
- (d) मजाक में
- कहानी में परसराम का सबसे बड़ा दोष क्या है?
- (a) आलस्य
- (b) दूसरों की पीड़ा न समझना ✔️
- (c) लालच
- (d) डरपोक होना
- परसराम ने रमेसर की बात कब समझी?
- (a) जब गोदवरी बीमार हुई
- (b) जब उसकी बाड़ी बर्बाद हुई ✔️
- (c) जब गांव वालों ने डांटा
- (d) जब दसरी ने समझाया
- दसरी कौन है?
- (a) रमेसर की बहन
- (b) परसराम की पत्नी ✔️
- (c) गांव की बुजुर्ग
- (d) गोदवरी की मालिक
- रमेसर का मुख्य उद्देश्य क्या था?
- (a) परसराम को समझाना ✔️
- (b) गोदवरी को सजा देना
- (c) गांव वालों को खुश करना
- (d) बाड़ी को बचाना
- रमेसर की समझदारी को देखकर गांव वाले क्या कहते हैं?
- (a) उसकी आलोचना करते हैं
- (b) उसकी तारीफ करते हैं ✔️
- (c) उसे सजा देते हैं
- (d) उसे नज़रअंदाज़ करते हैं
- गोदवरी का रंग कैसा था?
- (a) काला
- (b) लाल ✔️
- (c) सफेद
- (d) भूरा
- कहानी का संदेश क्या है?
- (a) मेहनत का फल मीठा होता है
- (b) दूसरों की चीज़ों की कद्र करनी चाहिए ✔️
- (c) लालच बुरी बला है
- (d) अपने परिवार की देखभाल करनी चाहिए
- गोदवरी कितनी दूध देती थी?
- (a) कसेली भर ✔️
- (b) कोरी भर
- (c) आधा भर
- (d) एक गिलास
- परसराम के स्वभाव में बदलाव कब आया?
- (a) रमेसर के समझाने पर ✔️
- (b) गोदवरी के मरने पर
- (c) गांव वालों के डराने पर
- (d) दसरी के रोने पर
- कहानी का मुख्य पात्र कौन है?
- (a) गोदवरी
- (b) परसराम ✔️
- (c) रमेसर
- (d) दसरी
- रमेसर के व्यवहार को आप कैसे परिभाषित करेंगे?
- (a) स्वार्थी
- (b) संवेदनशील और समझदार ✔️
- (c) क्रोधी
- (d) लापरवाह
- कहानी का शीर्षक ‘अपन चीज के पीरा’ का अर्थ क्या है?
- (a) अपनी चीज़ों की सुंदरता
- (b) अपनी चीज़ों का दर्द ✔️
- (c) अपनी चीज़ों की हानि
- (d) अपनी चीज़ों की खुशी