आवृतबीजी पादप (Angiosperms) का बिंदुवार वर्णन

आवृतबीजी पादप (Angiosperms) का बिंदुवार वर्णन

परिचय

  1. पुष्प धारण करने वाले पादपों का समूह।
  2. बीज का विकास फल के अंदर होता है।
  3. सभी प्रकार के पर्यावरण में पाए जाते हैं।
  4. कुल प्रजातियाँ: लगभग 2,50,000
  5. उदाहरण: आम, नींबू, टमाटर, गेहूँ, सरसों आदि।

सामान्य लक्षण (General Characteristics)

आवास और संरचना

  1. विविध आवास: प्राकृतिक पर्यावरण में सभी प्रकार के स्थानों पर पाए जाते हैं।
  2. संरचना: जड़, तना और पत्तियों में विभेदित पादपकाय।
  3. बीजाणुजनक (Sporophytic) पादपकाय:
    • स्वतंत्र और प्रमुख अवस्था।
    • स्वयंपोषी, लेकिन कुछ परजीवी, मृतोपजीवी, उपरिरोही और कीटभक्षी भी।

प्रजनन और पुष्प संरचना

  1. पुष्प चक्र: चार चक्रों में व्यवस्थित प्रजननांग:
    • बाह्यदलपुंज (Calyx)।
    • दलपुंज (Corolla)।
    • पुमंग (Androecium)।
    • जायांग (Gynoecium)।
  2. गैमिटोफाइटिक प्रावस्था:
    • अल्पकालिक।

बीज और फल

  1. बीज:
    • अंडाशय के अंदर बंद।
  2. अंडाशय का विकास:
    • परिपक्व होकर फल बनता है।
  3. द्विनिषेचन (Double Fertilization):
    • भ्रूण और त्रिगुणित भ्रूणपोष (Triploid Endosperm) का निर्माण।

संवहन तंत्र

  1. पूर्ण विकसित संवहन तंत्र:
    • जाइलम:
      • वाहिकाएँ (Vessels)।
      • वाहिनियाँ (Tracheids)।
      • जाइलम तंतु (Xylem Fibres)।
      • जाइलम पैरेंकाइमा।
    • फ्लोयम:
      • चालिनी नलिकाएँ (Sieve Tubes)।
      • सहायक कोशिकाएँ (Companion Cells)।
      • फ्लोयम तंतु (Phloem Fibres)।
      • फ्लोयम पैरेंकाइमा।

महत्वपूर्ण उदाहरण

  1. फल वाले पादप: आम, जामुन, केला, पपीता।
  2. तेल और बीज वाले: सरसों।
  3. विशेष पादप: ड्रोसेरा (कीटभक्षी), निपेन्थीज, ऑर्किड्स।

विशेषता सारांश

  • आवृतबीजी पादप उन्नत संवहन तंत्र, पुष्पीय संरचना और द्विनिषेचन जैसी विशेषताओं के कारण सबसे विकसित पादप समूह हैं।

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