जानने योग्य
- कही जा रही बात कहानी कविता आदि को ध्यान से समझते हुए सुनते और अपनी प्रतिक्रिया व्यक्ति करते हैं।
- कहानी, कविता आदि को उपयुक्त उतार-चढ़ाव, गति, प्रवाह और सही पुट के साथ सुनाते हैं।
- सुनी हुई रचनाओं की विषय-वस्तु घटनाओं, पात्रों, शीर्षक आदि के बारे में बातचीत करते हैं. प्रश्न पूछते हैं अपनी प्रतिक्रिया देते हैं राय बताते हैं / अपने तरीके से (कहानी, कविता आदि) अपनी भाषा में व्यक्त करते है।
- आस-पास होने वाली गतिविधियों / घटनाओं और विभिन्न स्थितियों में हुए अपने अनुभवो के बारे में बताते, बातचीत करते और प्रश्न पूछते हैं।
- कहानी, कविता अथवा अन्य सामग्री को समझते हुए उसमें अपनी कहानी / बात जोडते है।
- अलग-अलग तरह की रचनाओं में आए नए शब्दों को संदर्भ में समझकर उनका अर्थ सुनिश्चित करते हैं।
- स्वेच्छा से या शिक्षक द्वारा तय गतिविधि के अंतर्गत वर्तनी के प्रति सचेत होते हुए स्व-नियंत्रित लेखन (कनवेंशनल राइटिंग) करते हैं।
हठ कर बैठा चाँद, एक दिन माता से यह बोला ।
सिलवा दो माँ, मुझे ऊन का मोटा एक झिंगोला ।।
सन्-सन् करती हवा, रात-भर जाड़े से मरता हूँ।
ठिठुर-ठिठुरकर किसी तरह यात्रा पूरी करता हूँ ।।
आसमान का सफर और यह मौसम है जाड़े का ।
न हो अगर तो ला दो कुर्ता ही, कोई भाड़े का ।।
बच्चे की बातें सुनकर बोली उससे यह माता ।
सचमुच जाड़े का मौसम तो तुझको बहुत सताता ।।
जाड़े की तो बात ठीक है, पर मैं तो डरती हूँ ।
एक नाप में कभी नहीं, तुझको देखा करती हूँ ।।
कभी एक अंगुल – भर चौड़ा, कभी एक फुट मोटा ।
बड़ा किसी दिन हो जाता है, और किसी दिन छोटा ।।
घटता-बढ़ता रोज किसी दिन, ऐसा भी करता है।
नहीं किसी की आँखों को तू, दिखलाई पड़ता है ।।
अब तू ही यह बता, नाप तेरा किस रोज लिवाएँ ?
सी दूँ एक झिंगोला, जो हर रोज बदन में आए ।।
प्रश्न और अभ्यास
प्र. 1. हमें चाँद कब दिखाई देता है?
प्र. 2. चाँद ने माँ से किस चीज की मांग की ?
प्र. 3. ऊनी कपड़े किस मौसम में पहने जाते हैं ?
प्र.4. चाँद कब दिखाई ही नहीं देता ?
प्र.5 पूरा गोल चाँद कब दिखता है ?
प्र. 6. माता ने चाँद को झिंगोला देने में क्या कठिनाई बताई ?
प्र. 7. चाँद कब घटता और कब बढ़ता है ?
प्र.8. पूर्णमासी और अमावस्या के दिन चाँद की क्या स्थिति रहती है ?
प्र. 9. चाँद पर आधारित किन त्यौहारों को मनाया जाता है?
क- कार्तिक मास की अमावस्या को
ख- फागुन की पूर्णिमा को
ग- सावन की पूर्णिमा को
घ- रमजान के रोजे पूरे होने के बाद मनाया जाने वाले त्यौहार
प्र. 10. अगर चींटी और हाथी के लिए झबला बनवाया जाए, तो क्या बन पाएगा? कारण बताते हुए उत्तर लिखो ।